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Skinny Jeans: क्या ये वाकई आपके लिए अच्छी हैं?
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Skinny Jeans: क्या ये वाकई आपके लिए अच्छी हैं?

स्किन से रगड़ाने और स्किन की जलन के अलावा, टाइट बॉटम्स पहनने से क्रॉच में मॉइस्चर जमा होने से जेनिटल इन्फेक्शन का आदर्श वातावरण बन सकता है।

स्किन से रगड़ाने और स्किन की जलन के अलावा, टाइट बॉटम्स पहनने से क्रॉच में मॉइस्चर जमा होने से जेनिटल इन्फेक्शन का आदर्श वातावरण बन सकता है।

वर्ष 2019 में, रैपर कार्डी बी ने एक वीडियो अपलोड किया था, जिसमें उन्होंने अपनी स्किनी फिट पैंट को अपनी जांघों तक नीचे कर लिया था, जिसके बाद एक बहस सी छिड़ गई थी। कार्डी ने कहा, इसका कारण यीस्ट इन्फेक्शन से बचना था। इस वीडियो को 19 मिलियन बार देखा गया। इससे सामान्य रूप से लोग चिंतिंत होने लगे कि क्या आपके लिए टाइट पैंट पहनना हानिकारक है?

आज जब इस बात पर बहस जारी है कि क्या स्किनी फिट अभी भी स्टाइल में है, तो इसके बारे में गायनाकोलोजिस्ट और एक्सपर्ट्स का कहना है कि बहुत अधिक फिट बॉटम्स का स्टाइल से बाहर जाना आपकी प्राइवेट पार्ट्स के स्वास्थ्य के लिए अच्छी ही बात है।

 

टाइट पैंट आपके स्वास्थ्य के लिए हानिकारक क्यों हैं?

बोस्टन यूनिवर्सिटी स्कूल ऑफ पब्लिक हेल्थ द्वारा जर्नल ऑफ लोअर जेनिटल ट्रैक्ट डिजीज़ में प्रकाशित 2019 के एक रिसर्च ने तब चिंता बढ़ा दी, जब यह पाया गया कि एक सप्ताह में चार या उससे अधिक बार टाइट-फिटिंग जींस या पैंट पहनने से वुल्वोडनिया का खतरा लगभग दोगुना हो जाता है। यह एक ऐसी समस्या है, जिसमें वुल्वर या योनि (महिला के प्राइवेट पार्ट का बाहरी अंग) में दर्द होने लगता है। रिसर्च टीम ने बताया कि टाइट बॉटम पहनने से एक ऐसा स्थिति बन सकती है, जो जेनिटल ट्रैक्ट इन्फेक्शन और वुल्वर (योनि) में दर्द का कारण बन सकता है।

 

टाइट बॉटम्स पहनने के साइड इफेक्ट

हैदराबाद के यशोदा हॉस्पिटल्स की कंसल्टेंट ऑब्स्टेट्रिशियन और गायनाकोलोजिस्ट  डॉ. कार्तिका रेड्डी कहती हैं कि जब महिलाएं टाइट-फिटिंग कपड़े पहनती हैं, तो वुल्वर एरिया की स्किन में खरोंच और कभी-कभी स्किन में जलन की समस्या भी हो सकती है। वुल्वर एरिया की स्किन बहुत संवेदनशील होने के कारण ऐसा हो सकता है। पसीना और अन्य लिक्विड वहां जमा हो सकते हैं, जिससे जलन और लालिमा की स्थिति बन सकती है और इन्फेक्शन होने का खतरा बन सकता है।

 

क्या टाइट जीन्स से ब्लड सर्कुलेशन में कमी हो सकती है?

डॉ. रेड्डी कहती हैं, “कुछ मामलों में, स्किनी पैंट या लेगिंग पहनने से पैरों में ब्लड फ्लो भी कम हो सकता है। इससे संबंधित समस्याएं देखे गए हैं, जैसे कि एक महिला स्किनी जींस पहनकर दिन में कई घंटे तक बैठी रहती थी, जिससे उसके पैर सुन्न होने लगे। यह ब्लड सर्कुलेशन में कमी के सबसे आम लक्षणों में से एक है।”

 

वुल्वोडनिया क्या है?

डॉ. रेड्डी का कहना है कि वुल्वोडनिया, वुल्वा से जुड़ी एक समस्या है, जिसका कोई विशेष कारण नहीं है, बल्कि इसमें लंबे समय तक पेट में दर्द और अन्य परेशानी हो सकती है।

डॉ. रेड्डी एक 25 वर्षीय महिला के केस को याद करते बताते हैं, जिसने रूटीन कंसल्टेंशन के दौरान वुल्वर एरिया में खुजली, जलन और लंबे समय तक दर्द की शिकायत की थी।

डॉ. रेड्डी कहते हैं, “हमें जांच में वैसा कुछ भी असामान्य नहीं मिला। हमने जांच की कि क्या पहले उन्हें यूरिनरी ट्रैक्ट में इन्फेक्शन और वुल्वर एरिया में दर्द हुआ था। जांच करने पर डॉक्टर्स ने पाया कि महिला अक्सर स्किन टाइट पैंट पहनती थीं, जिससे उनके क्रॉच एरिया पर दबाव पड़ता था।”

डॉ. रेड्डी का कहना है कि इस केस में, टॉपिकल स्टेरॉयड क्रीम, जो खुजली और जलन से राहत प्रदान करती है और फिजिकल थेरेपी सेशन और साइकोसेक्सुअल काउंसलिंग की सलाह दी गई थी। हमने उन्हें बेसिक वुल्वर केयर के बारे में बताया, जैसे वुल्वर को कैसे स्वस्थ रखा जाए। इन सभी से वुल्वोडनिया को ठीक होने में मदद मिली।

 

टाइट फिटिंग पैंट से क्या होता है

डॉ. रेड्डी का कहना है कि वुल्वर एरिया पर फिटेड जींस पहनने के कुछ सामान्य दुष्प्रभावों हो सकते हैं:

  • लालिमा
  • चकत्ते
  • खुजली
  • जलन
  • असामान्य रूप से डिस्चार्ज
  • दुर्लभ मामलों में, इससे पेट में दर्द हो सकता है।

मुंबई स्थित गायनाकोलोजिस्ट और फेडरेशन ऑफ ऑब्स्टेट्रिक एंड गायनेकोलॉजिकल सोसाइटीज ऑफ इंडिया (FOGSI) की पूर्व प्रेसिडेंट डॉ. नंदिता पालशेतकर का कहना है कि लंबे समय तक स्किनी पैंट पहनने से योनि क्षेत्र में बार-बार इन्फेक्शन हो सकता है। लंबे समय तक टाइट पैंट पहनने से, विशेष रूप से गर्म और आर्द्र जलवायु में, अत्यधिक पसीना आ सकता है और इससे वेजिनाइटिस, इन्फेक्शन या योनि में सूजन हो सकती है। वेजिनाइटिस के सबसे आम लक्षणों में खुजली और जलन और असामान्य रूप से होने वाले डिस्चार्ज शामिल हैं।

डॉ. रेड्डी कहती हैं, “एक रिसर्च में यह भी पाया गया कि बहुत अधिक फिटेड पैंट पहनना वेजाइनल कैंडिडायसिस का जोखिम बढ़ाने के कारकों में से एक था, जो कि यीस्ट के कारण होने वाला एक फंगल इन्फेक्शन है। फंगल इन्फेक्शन के अलावा, महिलाओं में स्किन की सूजन के कारण जलन हो सकती है, जिसकी जांच की जानी चाहिए।”

हैदराबाद स्थित गायनाकोलोजिस्ट, ऑब्स्टेट्रिशियन और फेडरेशन ऑफ ऑब्स्टेट्रिक एंड गायनेकोलॉजिकल सोसाइटीज ऑफ इंडिया (FOGSI) डॉ. शांता कुमारी कहती हैं कि परेशानी के पहले ही संकेत पर गायनाकोलोजिस्ट से सलाह लेनी चाहिए। डॉक्टर जलन और परेशानी से राहत के लिए कुछ दवाएं लिख सकते हैं।

 

टाइट कपड़ों के बजाय थोड़े ढीले कपड़े चुनें

डॉ. कुमारी का कहना है कि ढीले कपड़े पहनना सही रहता है। खासकर गर्मी, आर्द्र मौसम में, क्योंकि इस समय बहुत अधिक मेहनत करने पर पसीना आने लगती है। इसलिए सिंथेटिक कपड़ों के बजाय फैब्रिक कपड़ें (अच्छे हवादार कपड़े) चुनें, जिसमें आप आसानी से सांस ले सकें। कॉटन जैसे हवादार कपड़ों से बने अंडरवियर पहनने चाहिए। एक्सपर्ट कहते हैं कि स्पोर्ट खेलने या एक्सरसाइज़ के लिए ऐक्टिववियर चुनते समय भी हमेशा मौसम की स्थितियों, कपड़े, वज़न, मॉइस्चर-विकिंग क्षमता, आरामदायक लेवल और ऐक्टिविटीज़ पर विचार करना चाहिए।

जब कोई आदतन टाइट पैंट पहनता है, तो वेजाइनल थ्रश संबंधी समस्याएं, सफेद वेजाइनल डिस्चार्ज, खुजली और जलन के साथ-साथ पेशाब की समस्या या सेक्स होने के दौरान फंगल इन्फेक्शन की समस्या हो सकती है।

यूके नेशनल हेल्थ सर्विस (NHS) के अनुसार, वेजाइनल थ्रश से बचने के लिए फिटेड, प्रतिबंधित या सिंथेटिक कपड़े पहनने से बचना चाहिए, जिसमें टाइट, नायलॉन अंडरवियर, लेगिंग, लाइक्रा शॉर्ट्स और स्किनी जीन्स या ट्राउजर शामिल हैं।

डॉ. रेड्डी का कहना है कि सुगंधित वैजाइनल प्रोडक्ट जैसे कि सेंटेड सैनिटरी पैड और टैम्पोन्स से बचना चाहिए, साथ ही इंटिमेट हाइजीन प्रोडक्ट का उपयोग नहीं करना चाहिए। वुल्वर एरिया को गर्म पानी से साफ करना सबसे अच्छा है।

डॉ. कुमारी का कहना है कि उस एरिया को साफ कपड़े से सूखा रखने और साफ रखने से इन्फेक्शन का खतरा कम होगा। इसके अलावा वॉशरूम में स्वच्छता का पालन करें।

डॉ. पालशेतकर का कहना है कि जिन्हें वेजाइना और वुल्वर एरिया में इन्फेक्शन की समस्या हो चुकी है, उन्हें टाइट डेनिम फैब्रिक बॉटम पहनने से बचना चाहिए, क्योंकि यह केवल समस्या को बढ़ाएगा और बार-बार इन्फेक्शन पैदा करेगा।

संक्षिप्त विवरण

बार-बार और लंबे समय तक टाइट-फिटिंग जींस या ट्राउजर पहनने से मॉइस्चर जमा हो सकता है, जिससे वुल्वर एरिया में फंगल और बैक्टीरियल इन्फेक्शन हो जाता है। डॉक्टर फिटेड कपड़ों के बजाय ढीले कपड़े पहनने की सलाह देते हैं।

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